बुदनी: कांग्रेस प्रत्याशी अरुण यादव ने किया जनसंपर्क, हुआ तुलादान

15 सालों में 46 हजार दुष्कर्म के बाद भी
शिवराज बेशर्मी से बन रहे हेै महिलाओं के हितैषी
शिवराज बताऐं, बुधनी की ही गर्भवती महिलाओं को अपने प्रसव के लिए होशंगाबाद और भोपाल क्यों जाना पड़ रहा है ? - अरूण यादव

नसरूल्लागंज/16 नवम्बर 2018 / बुधनी 


विधानसभा निर्वाचन क्षेत्र में मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के खिलाफ चुनाव लड़ रहे कांग्रेस प्रत्याशी अरूण यादव ने आज शुक्रवार को घुटवानी, बसंतपुर, पांगरी, पुरी नयापुरा और आस पास के विभिन्न क्षेत्रों में अपने जनसंपर्क के दौरान प्रदेश में बढ़ रहे महिला अपराधों को लेकर शिवराज सिंह चौहान को जमकर घेरते हुए कहा कि विज्ञापनों में जो शिवराज सरकार महिलाओं की हितैषी बन रही है, शायद उसके मुखिया यह भूल रहे है कि एन0सी0आर0बी0 के आंकडों के ही अनुसार मध्य प्रदेश बलात्कार के मामलों में नंबर एक है ! पिछले 15 सालों में 46 हजार दुष्कर्म के मामले सामने आये है! प्रतिदिन औसतन 13 बलात्कार की घटनाऐं हो रही है। 35 हजार से अधिक बच्चियां गायब हुई है। जिनका आज तक कोई अता पता नही है! प्रदेश में अब तो हालात यहां तक पहुंच गए है कि राज्य सरकार द्वारा फडिंग किये गये अनाथ आश्रमों में मूक बधिर /विकलांग बच्चे बच्ची भी दुराचार से बच नही सके है! माननीय सर्वोच्च न्यायालय को यहां तक कहना पडा है कि यदि किसी प्रदेश में राज्य सरकार द्वारा फडिंग किये गये संस्थानों में कोई बलात्कार होता है, तो वह राज्य प्रायोजित माना जाएगा ! श्री यादव ने मुख्यमंत्री से यह भी पूछा कि यदि वे महिलाओं के वास्तविक हितेषी है तो उन्हे यह भी बताना चाहिए कि वे 14 सालो से मध्यप्रदेश के मुखिया है बावजूद उसके इस निर्वाचन क्षेत्र की गर्भवती महिलाओं को अपने प्रसव के लिए होशंगाबाद या भोपाल क्यों जाना पड़ता है?
 श्री यादव ने कहा कि गरीब बेटियों के विवाह कराने का श्रेय लेने वाले शिवराज सिंह इस सच्चाई को भी स्वीकार करेंगे कि इन गरीब बेटियों की शादियों में चांदी के नकली उपहार बांटकर प्रदेश में एक बडा घोटाला किया गया । राजधानी भोपाल के एक पुलिस थाने में दो साल पहले इसके सप्लाय करने वाले के खिलाफ एफ0आर0आई0 दर्ज हुई, किंतु आज तक वह आरोपी इसलिए गिरफ्तार नही हो सका कि उस सप्लायर को भाजपा के ही वरिष्ठ नेताओं और मंत्रीयों का खुला संरक्षण प्राप्त था।
श्री यादव ने यहां तक कहा कि महिलाओं के लिए सबसे असुरक्षित शहरों में भोपाल , ग्वालियर और जबलपुर शामिल हो गए है। एक ओर जहां मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान कथित तौर पर महिलाओं के हितेैषी बन रहे है वहीं उनकी ब्राडिंग के लिए बहु प्रचारित नारे ‘‘बेटी-बचाओ‘‘ को अब प्रदेश इस रूप में कहने के लिए तैयार कि ‘‘बेटी-बचाओ‘‘, मगर भाजपा के ही नेताओं से ?

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