वहीं कांग्रेस ने अपने घोषणापत्र में उन मुद्दों को शामिल किया जिससे सामाजिक आर्थिक विकास व्यापक रूप से प्रभावित हो रहा था. सचिन पायलट ने कहा राहुल गांधी भारत जोड़ो यात्रा के जरिए जन-जन से जुड़े. कांग्रेस पार्टी और उनकी सहयोगी पार्टियां संसद और अंदर और बाहर एक मजबूत विपक्ष की भूमिका निभाएगी.
बता दें कि कांग्रेस नेता सचिन पायलट ने ऑक्सफोर्ड यूनिवर्सिटी के ब्लावात्निक स्कूल ऑफ गवर्नमेंट में टीचर्स और स्टूडेंट्स को संबोधित किया. इसे दौरान उन्होंने लोकसभा चुनावों को लेकर चर्चा की
बता दें कि सचिन पायलट को इस कार्यक्रम में संबोधन के लिए आमंत्रित किया गया था. इस दौरान सचिन पायलट ने कहा कि इंडिया गठबंधन ने उन मुद्दों पर चुनाव लड़ा जो देश के मुद्दे थे. अग्निवीर योजना को लेकर युवाओं में आक्रोश है. गरीबों-अमीरों के बीच बढ़ती खाई और आर्थिक मुद्दों को लेकर हमने चुनाव लड़ा.
‘बीजेपी का घमंड झलक रहा था’
सचिन पायलट ने कहा कि बीजेपी के 400 पार के नारे से उनका घमंड झलक रहा था. बीजेपी की सरकार ने 10 सालों में पहले ही एक तरफा फैसले करने की कोशिश की है. बिना किसी तैयारी के देश में नोटबंदी कर दी गई. जिसकी वजह से खराब रिजल्ट आए. लोग परेशान हुए.
बीजेपी सरकार के कई मंत्रियों और कई नेताओं पर कई तरह के आरोप लगाए गए. लेकिन किसी से न तो इस्तीफा लिया गया और न हीं किसी ने कोई जिम्मेदारी ली. किसी भी नेता के खिलाफ कोई कार्रवाई नहीं की गई.
‘राम मंदिर के नाम पर वोट लेने की कोशिश की’
कांग्रेस नेता ने कहा कि बीजेपी ने राम मंदिर के नाम पर वोट लेने की कोशिश की लेकिन जनता बहुत समझदार है. जिसका बड़ा उदाहरण है कि बीजेपी अयोध्या में ही चुनाव हार गई. राहुल गांधी की छवि को खराब करने के लिए बीजेपी ने भरपूर कोशिश की. वहीं कांग्रेस को लेकर पायलट ने कहा कि कांग्रेस में सभी को अपनी बात रखने का पूरा मौका दिया जाता है. यहां खुलापन है. कांग्रेस पार्टी बीजेपी जैसी नहीं है.
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